Rural Industrial Park | मुख्यमंत्री ने देश के पहले रुरल इंडस्ट्रियल पार्क का किया लोकार्पण, ग्रामीणों के स्वरोजगार के लिए 3.30 करोड़ की लागत से पांच एकड़ में तैयार किया गया है ‘रीपा’
1 min readRural Industrial Park | The Chief Minister inaugurated the country’s first Rural Industrial Park, ‘RIPA’ has been prepared in five acres at a cost of 3.30 crores for the self-employment of the villagers.
रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आज गणतंत्र दिवस पर बस्तर जिले के तुरेनार में देश के पहले रुरल इंडस्ट्रियल पार्क (RIPA) का लोकार्पण किया। ग्रामीणों के स्वरोजगार के लिए यहां पांच एकड़ में 20 वर्किंग शेड्स बनाए गए हैं जिनमें से 18 शेड्स में विभिन्न योजनाओं के अंतर्गत अभी 337 लोग काम कर रहे हैं। वर्किंग शेड्स के साथ ही यहां प्रशिक्षण केन्द्र और आवासीय प्रशिक्षण के लिए प्रशिक्षुओं हेतु आवासीय परिसर भी बनाया गया है।
मुख्यमंत्री बघेल ने महात्मा गांधी रुरल इंडस्ट्रियल पार्क के लोकार्पण के बाद हर एक शेड में जाकर वहां संचालित गतिविधियों को देखा और स्वरोजगार में लगीं महिलाओं से बात कर उनके काम की जानकारी ली। उन्होंने ‘रीपा’ परिसर में आयोजित लोकार्पण कार्यक्रम और किसान मेला में बताया कि प्रदेश भर में इस तरह के 300 रुरल इंडस्ट्रियल पार्क बनाए जा रहे हैं। रोजगार के मौके बढ़ाने के लिए हर विकासखंड में दो-दो ‘रीपा’ तैयार किए जा रहे हैं।
लोकार्पण कार्यक्रम को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि आज तुरेनार में छत्तीसगढ़ का ही नहीं, बल्कि देश के पहले रुरल इंडस्ट्रियल पार्क का शुभारंभ हो रहा है। बस्तर में बहुत से कीमती वनोपज मौजूद हैं। जो चीज दुनिया में कहीं नहीं मिलती, वह बस्तर में मिलती है। लघु वनोपजों के संग्रहण के साथ ही इनके प्रसंस्करण और मूल्य संवर्धन से स्थानीय लोगों को ज्यादा कमाई हो रही है। बस्तर के लोग पहले सीधे कोसा बेचते थे, अब इससे धागा बना रहे हैं। इमली से कैंडी बना रहे हैं, सुगंधित चावल की अच्छी पैकेजिंग कर बेच रहे हैं। काजू के प्रसंस्करण के बाद इसे अच्छे दामों में बेचा जा रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि लोगों को काम के लिए बाहर जाना न पड़े, इसके लिए सरकार स्थानीय स्तर पर रोजगार के अवसर बढ़ा रही है। रुरल इंडस्ट्रियल पार्क गांवों में स्वरोजगार के लिए जरूरी संसाधन मुहैया कराएगा। इसके माध्यम से हम राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के ग्राम स्वराज के सपने को साकार कर रहे हैं। ‘रीपा’ से गांव स्वावलंबी बनेंगे, ग्रामीण आर्थिक रूप से सशक्त होंगे और महिलाएं भी आत्मनिर्भर होंगी।
लोकार्पण कार्यक्रम को संसदीय सचिव रेखचंद जैन और बस्तर के सांसद दीपक बैज ने भी संबोधित किया। कलेक्टर चंदन कुमार ने अपने प्रतिवेदन में तुरेनार रुरल इंडस्ट्रियल पार्क में उपलब्ध सुविधाओं और वहां संचालित गतिविधियों की जानकारी दी।
राज्य शासन के सहयोग से विभिन्न समूहों द्वारा तुरेनार ‘रीपा’ में मशरूम स्पॉन लैब एवं आएस्टर मशरूम उत्पादन, बटन मशरूम एवं आएस्टर मशरूम उत्पादन, काजू प्रसंस्करण, कोदो, कुटकी, रागी, मसाला, तिखुर प्रसंस्करण एवं आचार निर्माण, सुगंधित चावल एवं दाल उत्पादन, ईमली केंडी व चपाती निर्माण, चिरोंजी प्रसंस्करण, रेशम धागाकरण, मुर्गी पालन, अण्डा उत्पादन, तेल पेराई, नॉन वुवेन बैग, पेपर बैग, दोना, पत्तल, प्राकृतिक गोबर पेंट, सूती वस्त्र, मछली दाना एवं मुर्गी दाना निर्माण के साथ ही बेकरी इकाई संचालित की जा रही है।
‘रीपा’ के लोकार्पण कार्यक्रम में विधायक राजमन बेंजाम, क्रेडा के अध्यक्ष मिथिलेश स्वर्णकार, छत्तीसगढ़ मछुआ कल्याण बोर्ड के अध्यक्ष एम.आर. निषाद, इंद्रावती बेसिन विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष राजीव शर्मा, जगदलपुर जनपद पंचायत की अध्यक्ष अनिता पोयाम, तुरेनार के सरपंच सम्पत कश्यप, कमिश्नर श्याम धावड़े, पुलिस महानिरीक्षक सुंदरराज पी. और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक जितेन्द्र मीणा सहित अनेक जनप्रतिनिधि एवं किसान मौजूद थे।