Raipur | ठगी करने के लिए PCC अध्यक्ष मोहन मरकाम के नाम का प्रयोग, प्रधानमंत्री आवास योजना के नाम पर बड़ा घोटाला
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रायपुर । राजधानी में प्रधानमंत्री आवास योजना के नाम पर बड़ा घोटाला हुआ है। PM आवास ठगी मामले में एक और खुलासा हुआ है। आरोपियों ने PCC अध्यक्ष मोहन मरकाम और उनके नाम के पत्र का इस्तेमाल कर ठगी की वारदात को अंजाम दिया है।
नोडल अधिकारी के नाम से बने फर्जी पत्र में PCC अध्यक्ष का नाम किया इस्तेमाल किया गया है। खुद को PCC अध्यक्ष मरकाम का आदमी बताकर ठगी को अंजाम दिया गया है।
राजधानी में प्रधानमंत्री आवास योजना के नाम पर बड़ा घोटाला हुआ है। ठग गैंग ने नगर निगम की फर्जी सील, रसीद बनाकर बीएसयूपी के मकान को बेच दिया। मामले का खुलासा हाईकोर्ट में याचिका लगाने के बाद हुआ है। पता चला कि मकान दिलाने के नाम पर 98 परिवारों से ठगी की गई है। एक निजी चैनल ने इस मामले से संबंधित दस्तावेज होने का दावा किया है|
दो रैकेट ने लोगों को बनाया शिकार
ठगों ने एक मकान के बदले परिवारों से 25 हजार से सवा लाख रू तक लिए हैं। जानकारी के अनुसार दो रैकेट ने इस पूरे मामले का अंजाम दिया है। बताया जा रहा है कि ये ठग गैंग पहले बस्तियों में रह रहे लोगों को फंसाया, आरोपियों ने लोगों को बताया कि बोरियाकला में मकान खाली है। 25 हजार देकर खरीद सकते हैं। इस तरह करीब 200 से ज्यादा लोगों से ठगी की।
तुरंत लोगों को मकान आवंटित भी कर दिया गया। इसके बाद परिवार वहां जाकर रहने भी लगे। इसके अलावा एक और ठग गैंग ने लोगों को लूटने का काम किया। खुलासा हुआ है कि दूसरे ठग गैंग ने बीएसयूपी में रह लोगों को नोटिस भेजकर तीन दिन के अंदर मकान खाली करने को कहा। वहीं सवा लाख रुपए जमा कर मकान का मालिकाना हक मिलने की बात नोटिस में कही। इस तरह से करीब 200 से ज्यादा परिवारों से मकान दिलाने के नाम पर रुपए वसूले। करीब 1 करोड़ से ज्यादा की ठगी की।
फर्जी सील, रसीद बनकर की ठगी
इसके लिए ठग गैंग ने जोन चार की फर्जी सील बनाई गई और नगर निगम का फर्जी लेटरपेड बनाकर लोगों को अपना शिकार बनाया। वहीं पीड़ित परिवारों ने हाईकोर्ट में याचिका दाखिल किया। जिसके बाद इस पूरे मामले का खुलासा हुआ है।
बड़े लोगों के नाम आ सकते हैं सामने
बता दें कि नगर निगम के अधिकारियों के इस बड़े घोटाले की खबर नहीं थी। वहीं हाईकोर्ट से नोटिस आने के बाद निगम अधिकारियों के होश उड़ गए। इसके बाद नोटिस और रसीदों की जांच कराई तो सभी फर्जी निकले। कोतवाली थाने में शिकायत दर्ज कराई गई है। इस खुलासे के बाद अब संभावना जताई जा रही है कि इस मामले में बड़े लोगों के नाम सामने आ सकते हैं। अधिकारियों ने मामले को गंभीरता से लिया है।