Delhi Assembly Elections 2020: भाजपा ने जेएनयू हिंसा के लिए AAP और कांग्रेस को ठहराया जिम्मेदार
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नई दिल्ली। भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मनोज तिवारी ने जेएनयू हिंसा के लिए आम आदमी पार्टी, कांग्रेस और वामपंथी को जिम्मेदार ठहराया है। उन्होंने कहा कि वामपंथी, कांग्रेस और आप युवाओं और देश के साथ खिलवाड़ कर रही है। उन्होंने कहा कि पांच वर्षों तक प्रलोभन की सरकार चली। युवा देश के भविष्य व संपत्ति होते हैं। वामपंथी, कांग्रेस और आप युवाओं और देश के साथ खिलवाड़ कर रही है।
मनोज तिवारी ने कहा कि इससे नाराज युवा 9 जनवरी को बाइक रैली निकालेंगे जिसका भाजपा समर्थन करेगी। युवाओं ने भाजपा नेताओं को भी आमंत्रित किया है। युवाओं ने इसका नाम दिल्ली विजय रैली रखा है।
मनोज तिवारी ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि पांच वर्षों तक प्रलोभन की सरकार चली। 8 फरवरी का मतदान दिल्ली का भाग्य बदलने के लिए होगा। 21 वर्ष के बाद इस बार दिल्लीवासी भाजपा को अपना आशीर्वाद देंगे।
बता दें कि जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) में रविवार को दो छात्र गुटों में हुई मारपीट हुई थी। दिल्ली पुलिस प्रवक्ता एडिशनल पुलिस कमिश्नर मध्य जिला मंदीप सिंह रंधावा के मुताबिक, रविवार को वामपंथी छात्र संगठनों व एबीवीपी छात्र संगठन ने एक दूसरे पर मारपीट के आरोप लगाए। लेकिन अब तक न तो दोनों छात्र संगठनों की ओर से पुलिस में शिकायत दी गई है और न ही जेएनयू प्रशासन की ओर से। लिहाजा पुलिस ने स्वत: संज्ञान लेते हुए मुकदमा दर्ज किया है। मारपीट में दोनों गुटों के 34 छात्र घायल हुए थे, जिन्हें उपचार के लिए एम्स ट्रामा सेंटर व सफदरजंग अस्पताल में भर्ती कराया गया था। सभी घायलों को छुट्टी दे दी गई है। वहीं एबीवीपी ने दावा किया है कि उसके 25 छात्र घायल हुए हैं, जबकि वामपंथी छात्र संगठनों का कहना है कि उनके 20 छात्रों को चोटें आईं हैं।
जानकारी के मुताबिक, जेएनयू में पंजीकरण प्रक्रिया बाधित करने को लेकर पिछले तीन दिनों से दोनों छात्र संगठनों के बीच विवाद हो रहा था। जिसने रविवार को हिंसा का रूप ले लिया। सबसे पहले शाम 5.58 में पुलिस को जेएनयू में झगड़े की कॉल मिली। पुलिस जेएनयू के गेट पर पहुंची, लेकिन अंदर नहीं गई। दोनों गुटों में विवाद काफी बढ़ जाने पर रात 8.15 बजे जब दोबारा पुलिस को जेएनयू प्रशासन ने झगड़े की सूचना दी। तब भारी संख्या में पुलिस मौके पर पहूंची और कुलपति की लिखित अनुमित मिलने के बाद पुलिस अंदर घुसी। उसके बाद जेएनयू परिसर व सभी छात्रवासों के पास भी फ्लैग मार्च कर हालात को काबू में किया।