Chhattisgarh | छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट का बड़ा फैसला, राज्य सूचना आयुक्त चयन प्रक्रिया पर रोक, 25 साल के अनुभव की शर्त बनी विवाद का कारण

Chhattisgarh | Chhattisgarh High Court’s big decision, stay on the State Information Commissioner selection process, condition of 25 years of experience became the reason for the dispute
बिलासपुर, 30 मई 2025। राज्य सूचना आयुक्त के दो रिक्त पदों पर चल रही चयन प्रक्रिया पर छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाया है। न्यायमूर्ति संजय जायसवाल की एकल पीठ ने इस प्रक्रिया पर आगामी आदेश तक रोक लगा दी है। कोर्ट ने यह आदेश 25 वर्ष के कार्य अनुभव की नई शर्त को लेकर दाखिल याचिकाओं पर सुनवाई के बाद दिया।
क्या है पूरा मामला?
राज्य सूचना आयुक्त के दो पदों के लिए अधिसूचना 4 मार्च को जारी हुई थी और 19 मार्च तक आवेदन मंगाए गए थे। उस समय के विज्ञापन में कार्य अनुभव की कोई सीमा तय नहीं थी। लेकिन 9 मई को इंटरव्यू से ठीक पहले सर्च कमेटी ने एक पत्र जारी कर दिया, जिसमें कहा गया कि विधि, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी, समाज सेवा, प्रबंधन, पत्रकारिता, जनसंपर्क या प्रशासन के क्षेत्र में 25 साल या उससे अधिक का अनुभव अनिवार्य होगा।
इस नए नियम के चलते 172 आवेदकों में से केवल 51 आवेदकों को इंटरव्यू के लिए चुना गया। इस पर आपत्ति जताते हुए अनिल तिवारी, डीके सोनी और राजेंद्र उपाध्याय ने हाईकोर्ट में याचिका दायर की।
कोर्ट का आदेश
दोनों पक्षों को सुनने के बाद न्यायमूर्ति संजय जायसवाल ने चयन प्रक्रिया पर आगामी आदेश तक रोक लगा दी है। मामले की अगली सुनवाई 9 जून को होगी।
याचिकाकर्ताओं की दलील
याचिकाकर्ताओं का कहना है कि बिना पूर्व सूचना के अंतिम समय पर नियम बदलना न केवल अनुचित है बल्कि पूरी चयन प्रक्रिया को संदेह के घेरे में डाल देता है। उनका कहना है कि इससे योग्य उम्मीदवारों का अधिकार छीना जा रहा है।
क्या बोले कोर्ट?
कोर्ट ने कहा कि इस मामले में गंभीर कानूनी सवाल उठाए गए हैं, जिन्हें हल करना जरूरी है। जब तक मामले पर अंतिम आदेश नहीं आता, तब तक चयन प्रक्रिया पर रोक रहेगी।