धर्म निर्पेक्षता भारत की आत्मा-वृंदा करात
1 min readरायपुर। सीएए, एनआरसी व एनपीआर के विरोध में जयस्तंभ चौक पर 5 जनवरी से लगातार रात में प्रदर्शन जारी है। आज प्रदर्शन में मशहूर कम्युनिस्ट नेत्री वृंदा करात शामिल हुई। वृंदा करात ने प्रदर्शन स्थल पर सभा को संबोधित किया।
वृंदा करात ने कहा धर्म निर्पेक्षता भारत की आत्मा है। केंद्र की सरकार सीएए, एनआरसी व एनपीआर के माध्यम से धर्म के आधार पर भेदभाव पैदा कर रही है। भारत के संविधान व कानून में सभी धर्म एक समान है। आजादी से अबतक कई संशोधन हुए हैं। लेकिन कभी धर्म को आधार नहीं बनाया गया। असम से पता चला बड़ी संख्या में गरीब लोगों के पास कागज नहीं है। इस कानून से ऐसे गरीब लोग परेशान होंगे। जनता के साथ ही कई प्रदेश सरकारें और अन्य देशों की सरकारों ने भी इस काले कानून का विरोध किया है। संघ की विचारधारा वाली मोदी सरकार हिटलर की तरह तानाशाही कर रही है। देश की आजादी में सभी धर्मों की भागीदारी रही है। किसी एक वर्ग को छोड़कर देश के विकास की कल्पना भी नहीं कर सकते हैं। केंद्र सरकार देश में हो रहे विरोध को दबाने का प्रयास कर रही है। जनता को भ्रमित कर काले कानून को लागू करना चाहती है।